साधु संत महात्मा की सेवा करने से संग संग फल की प्राप्ति होती है – आत्मप्रकाश जी महाराज
आसनसोल । आसनसोल एनएस रोड स्थित गौशाला में मुरारका परिवार की ओर एवं आसनसोल महावीर स्थान सेवा समिति के सहयोग से सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा ज्ञानयज्ञ के दूसरे दिन जर भरत कथा नाम महिमा और वामन भगवान का अवतार पर कथा हुई। स्वामी आत्म प्रकाश जी महाराज ने कथा में कहा कि भागवत कथा करने में जितनी खर्च होती है। काम काज से व्यापार से जितना समय का नुकसान होता है। उसे ज्यादा भगवान किसी न किसी रूप में दे देते हैं। गुरुजी ने कहा कि जिसकी पत्नी झगड़ालू है तो पति को भक्ति में लीन हो जाना चाहिए। वहीं जिसके पति झगड़ालू है, उसकी पत्नी को भक्ति में लीन हो जाना चाहिए। यज्ञ तीर्थ करने से समय से फल की प्राप्ति होती है। वहीं साधु संत महात्मा की सेवा करने से संग संग फल की प्राप्ति होती है। भगवान के भक्तों से जो छल कपट करता है। उसका बड़ा अनहित होता है। इसलिए कभी किसी से छल कपट नहीं करनी चाहिए। दूसरे दिन भी भक्तों की भीड़ उमड़ी। दूसरे दिन राज्य के कानून सह श्रम मंत्री मलय घटक पहुंचे। मंत्री को गुरुजी ने आशीर्वाद दिया। गुरुजी ने मंत्री मलय घटक के बारे में बोले आसनसोल के विकास में काफी योगदान है। मौके पर बालकिशन मुरारका का पूरा परिवार, मोहन केशव भाई सहित पटेल परिवार, महावीर स्थान सेवा समिति के सचिव अरुण शर्मा, राजकुमार शर्मा, नारायण मुरारका, बाल कृष्णा मुरारका, सरस मुरारका, सरोज मुरारका, पंखुड़ी मुरारका, शुचि पोद्दार, सुमित्रा टेबरेवाल, स्वेता टेबरेवाल, कपूर अग्रवाल, मंजू अग्रवाल, प्रेमचंद केशरी, सज्जन जालुका, मुकेश पहचान, बासुदेव शर्मा, प्रकाश अग्रवाल, अक्षय शर्मा, रौनक जालान सहित सैंकड़ों महिलाएं व पुरुष भक्त उपस्थित थे।