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सेल वेतन संशोधन समझौता मौउ रद्द करने की मांग, सीटू का प्रदर्शन, हड़ताल की चेतावनी


बर्नपुर । पिछले 58 महीनों से सेल में कार्यरत 55 हजार इस्पात कर्मचारियों का वेतन समझौता लंबित है। इस समझौते को लेकर तीन यूनियनों द्वारा एक एमओयु पर हस्ताक्षर किया गया था। सीटू से संबद्धित स्टील वर्कर्स फेडरेशन ऑफ इंडिया ने इस एमओयु को रद्द करने सहित विभिन्न मांगो को लेकर सेल के सभी सयंत्र ओर खदानों में आन्दोलन की घोषणा की। मंगलवार बर्नपुर में इस्को कारखाने के स्कॉब गेट के नीकट वामपंथी श्रमिक संगठन सीटू सम्बंधित एबीके मेटल एंड इंजीनियरिंग वर्कर्स यूनियन एवं ठेका श्रमिक संगठन यूसीडब्ल्यूयू द्वारा एक विरोध सभा का आयोजन किया गया। अभी तक सेल कर्मचारियों का वेतन समझौता न होने से इस विरोध सभा का आयोजन किया गया था। पिछले 58 महीने से श्रमिकों के वेतन ढांचे में बदलाव न होने से सेल के कर्मचारियों में भारी असंतुष्ट हैं। कोरोना के बावजूद श्रमिकों की कार्यकुशलता से कंपनी फायदे में रही। पिछले कुछ महीनों में प्रबंधन ने विभिन्न सेल कर्मचारी संगठनों के साथ कई बैठकें की हैं, लेकिन संतोषजनक वेतन संरचना निर्धारित करना संभव नहीं है। इसी वजह से सेल कि सभी श्रमीक संगठन ने देश के सभी सेल कारखानों और खनन उद्यमों में 30 जून, 2021 को 24 घंटे की हड़ताल किया गया था , हालांकि श्रमीक संगठन इंटक ने इस हड़ताल मे सामील नहीं हूऐ । पिछले 21-22 अक्टूबर को नई दिल्ली में एनजेसीएस की बैठक हुई। इसमें 13 फीसदी एमजीबी और 26.5 फीसदी पर्क्स पर इंटक समेत 3 यूनियनों ने सहमति जताते हुए एमओयू पर हस्ताक्षर कर दिया। बीएमएस पर्क्स एवं एरियर के मुद्दे पर सहमत नहीं हुआ। वहीं सीटू ने भी अपनी मांग को बरकरार रखा तथा समझौते में नाकारात्मक मुद्दे होने की बात कहकर साइन करने से इंकार कर दिया। इसके बाद यूनियनों तथा सेल प्रबंधन की ओर से कहा गया कि 3 नवंबर को 19 महीने का एरियर मिलेगा। लेकिन आज तक एरियर नहीं आया है। वहीं समझौते को लेकर कर्मियों में असंतोष दिन-पर-दिन बढ़ता ही जा रहा है। असंतोष का मूल कारण अधिकारियों और कर्मियों के बीच वेतन के बीच बड़ा अंतर का है। वहीं एरियर को लेकर भी अधिकारियों को जहां पर्क्स के साथ एरियर दिया जा रहा है, वहीं कर्मियों को सिर्फ बढ़े हुए मूल वेतन का एरियर मिलेगा, लेकिन वह भी फिलहाल अप्रैल 2020 से दिया जा रहा है। 39 महीने के एरियर को लेकर सब कमेटी का सुझाव दिया गया। सीटू की मांग है कि श्रमिक विरोधी वेतन समझौता मौउ को रद किया जाये। इसमें वेतन, पर्क्स एवं एरियर को लेकर विसंगति है। इसिलए इन मुद्दों पर फिर फैसला हो। जिन कर्मचारियों को तबादला और निलंबन किया गया है, उनके खिलाफ निशर्त मामले वापस लिये जाये। ठेका श्रमिकों के वेतनमान पर भी फैसला हो। अगर इन मुद्दों पर सेल प्रबंधन ने उचित सिद्धांत नहीं लिया तो दिसंबर महिने के मध्य में सेल कि सभी इकाई मैं हड़ताल किया जाएगा, जिसके लिए आज से ही जोर-शोर से प्रचार शुरू कर दिया जा रहा हैं। इस विरोध प्रदर्शन में एबीके मेटल एंड इंजीनियरिंग वर्कर्स यूनियन के महासचिव शुभाशीष बसु, एसडब्ल्यूएफआई के सदस्य प्रतीक गुप्ता, शुभंकर दासगुप्ता, मिलन बेपारी, जयराम चटर्जी, विभास मुखर्जी, शिव कुमार राम, अशोक मंडल, दीपेश बनर्जी, पुलक चटर्जी और यूसीडब्ल्यूयू के उपाध्यक्ष पर्थ सेनगुप्ता, सुरेंद्र शर्मा, नित्य गोपाल भट्टाचार्य आदि उपस्थित थे।

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