पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी ने कहा, जल्द पेट्रोल-डीजल की आसमान छूती कीमतों से राहत मिलने की है उम्मीद
नई दिल्ली । पेट्रोल और डीजल की आसमान छूती कीमतों महंगाई से जल्द राहत मिलने की उम्मीद नजर आने लगी है। दरअसल, पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि सरकार ईंधन की कीमतों में बढ़ोतरी के मुद्दे पर संवेदनशील है। उन्होंने कहा कि कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतें धीरे-धीरे नीचे आकर स्थिर हो रही हैं। इससे आने वाले महीनों में लोगों को ईंधन की कीमतों से कुछ राहत मिलने के आसार बन रहे हैं। हालांकि, उन्होंने साफ कर दिया कि कीमतों में राहत देने के लिए उत्पाद शुल्क में कोई छूट नहीं दी जाएगी। उत्पाद शुल्क में नहीं की जाएगी किसी तरह की कटौती। पुरी ने देश में ईंधन की कीमतों में बढ़ोतरी पर सरकार का बचाव करते हुए कहा कि केंद्र 32 रुपये प्रति लीटर का उत्पाद शुल्क लगाता है। इससे मिलने वाले राजस्व का कल्याणकारी योजनाओं में इस्तेमाल किया जाता है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार अपनी अन्य जिम्मेदारियों के प्रति भी बहुत संवेदनशील है। केंद्र सरकार ने कोरोना संकट के बीच देश के 80 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन, मुफ्त टीके समेत कई तरह की सुविधाएं उपलब्ध कराई हैं। इसलिए यह उस तस्वीर का एक हिस्सा है। केंद्र सरकार की ओर से लगाया गया उत्पाद शुल्क आज भी वही है, जो अप्रैल 2010 में था। लिहाजा, पेट्रोल-डीजल पर उत्पाद शुल्क में कोई कटौती नहीं की जाएगी।
‘उत्पाद शुल्क में लंबे समय से नहीं किया गया है बदलाव’
केंद्रीय मंत्री पुरी ने कहा कि जब अंतरराष्ट्रीय कीमत 19 डॉलर 60 सेंट या 64 सेंट प्रति लीटर थी, तब भी हम 32 रुपये प्रति लीटर उत्पाद शुल्क लगाते थे। अब जब यह 75 डॉलर प्रति लीटर है, तब भी हम 32 रुपये प्रति लीटर उत्पाद शुल्क लगा रहे हैं। भारत में ईंधन की कीमतें अंतरराष्ट्रीय बाजार के मुताबिक निर्धारित की जाती हैं।कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूपीए ने 2010 में तेल की कीमतों को विनियमित किया था। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से ईंधन पर लगाए गए उत्पाद शुल्क के अलावा राज्य सरकारों की ओर से वैट भी लगाया जाता है। बता दें कि कई शहरों में पेट्रोल 100 रुपये प्रति लीटर और डीजल 90 रुपये प्रति लीटर चल रहा है।