पैर छूने से ज्यादा किसी व्यक्ति को देखकर मोबाइल स्विच ऑफ करना अधिक सम्मानजनक बात है – सुरेन जालान
आसनसोल । अब वह समय नहीं रहा जब किसी व्यक्ति के पैर छूना ही उनके लिए सम्मानजनक हो।उक्त बाते आसनसोल के व्यवसायी सुरेन जालान ने कही। उन्होंने कहा कि हालांकि, किसी के पैर छूने का मतलब है उसके प्रति समर्पण भाव जगाना। जब मन में समर्पण का भाव आता है तो अहंकार खत्म हो जाता है। बड़ों के पैर छूने से आशीर्वाद के साथ-साथ सेहत को भी फ़ायदा होता है। आधुनिक युग में एक मिनट भी कोई मोबाइल बंद नहीं करता है। वहीं यदि की कोई व्यक्ति केवल सम्मानित व्यक्ति को देखकर अपना मोबाइल स्वीच ऑफ कर दें तो यह उनके लिए सबसे अधिक सम्मानजनक होगा। ऐसा बहुत कम देखने को मिलता है। ऐसा यदि कोई करता है तो वह पैर छूने से भी ज्यादा सम्मान देना होता है।