आसनसोल नगर निगम हिंदी अकादमी की ओर से मनाया गया हिंदी दिवस
आसनसोल । पूरे देश के साथ साथ आसनसोल में भी हिंदी दिवस मनाया गया। इस मौके पर आसनसोल नगर निगम की तरफ से एक कार्यक्रम का आयोजन किया गया जहां आसनसोल नगर निगम के प्रशासनिक बोर्ड के चेयरमैन अमरनाथ चैटर्जी आसनसोल हिंदी अकादमी के अध्यक्ष मनोज यादव सहित शिल्पांचल के कई प्रबुद्ध व्यक्ति उपस्थित थे। इस मौके पर आसनसोल नगर निगम के प्रशासनिक बोर्ड के चेयरमैन अमरनाथ चैटर्जी ने कहा कि किसी भी भाषा को प्यार करने या
सम्मान देने से पहले सबको अपनी भाषा को सम्मान देना होगा। अपनी भाषा को सम्मान दिए बिना किसी अन्य भाषा को सम्मान देना संभव नही है। उन्होंने कहा कि वर्ष 1949 में पांच प्रबुद्ध लोगों की संसद में की गई बहस के उपरांत हिंदी को राष्ट्र भाषा का दर्जा मिला था। उन्होंने बताया कि इसी का नतीजा है कि आज पूरे देश में जितने भी राज्य हैं उनमें से ज्यादातर प्रदेशों मे हिंदी को ही मुख्य भाषा के रूप में स्वीकृत किया गया है। अपने वक्तव्य के दौरान अमरनाथ चैटर्जी ने कहा कि वर्ष 1983-84 में उनके यौवन में वह मनोज यादव के पिता जैसे लोगों की लगातार कोशिशों के कारण उनकी एक पुश्तैनी जमीन पर एक हिंदी माध्यम विद्यालय
की नींव डाली गई। पहले उस स्कुल को चलाने में भले कुछ समस्याओं का सामना करना पड़ा लेकिन मनोज यादव, मिथिलेश सिंह जैसे शिक्षकों की अपने विद्यार्थियों के प्रति समर्पण भाव के कारण स्कूल के जरिए हिंदी का प्रचार प्रसार किया जा सका। वहीं मनोज यादव ने कहा कि आज का दिन सिर्फ हिंदी दिवस के रुप में नहीं बल्कि भारतीय भाषा दिवस के रुप में मनाया जाता है। उन्होंने बताया कि भारत के संविधान के अनुसार सभी प्रादेशिक भाषाओं को समान मान्यता दी गई है । संविधान में हिंदी की भले ही आपसी तालमेल की भाषा या लिंक लैंग्वेज के रुप में कल्पना की गई थी लेकिन अन्य भाषाओं को भी समान मर्यादा दी गई है।